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Chapter 8 जीव जनन कैसे करते है (How do Organisms Reproduce) Solutions

Question - 11 : -
माँ के शरीर में गर्भस्थ भ्रूण को पोषण किस प्रकार प्राप्त होता है?

Answer - 11 : -

भ्रूण को माँ के रुधिर से ही पोषण मिलता है, इसके लिए एक विशेष संरचना होती है, जिसे प्लेसेंटा कहते हैं। यह एक तश्तरीनुमा संरचना है जो गर्भाशय की भित्ति में धंसी होती है। इसमें भ्रूण की ओर के ऊतक में प्रवर्ध होते हैं। माँ के ऊतकों में रक्तस्थान होते हैं, जो प्रवर्ध को आच्छादित करते हैं। यह माँ से भ्रूण को ग्लूकोज़, ऑक्सीजन एवं अन्य पदार्थों के स्थानांतरण हेतु एक बृहद क्षेत्र प्रदान करते हैं। विकासशील भ्रूण द्वारा अपशिष्ट पदार्थ उत्पन्न होते हैं, जिनका निपटान उन्हें प्लेसेंटा के माध्यम से माँ के रुधिर में स्थानांतरण द्वारा होता है।

Question - 12 : -
यदि कोई महिला कॉपर-टी का प्रयोग कर रही है तो क्या यह उसकी यौन-संचरित रोगों से रक्षा करेगा?

Answer - 12 : -

नहीं। कॉपर-टी का प्रयोग महिला की यौन-संचरित रोगों से रक्षा नहीं करेगा, क्योंकि यह विधि नर तथा मादा के बीच शारीरिक संबंध स्थापित करने में कोई बाधा उत्पन्न नहीं करती है। केवल गर्भधारण रोकती है।

Question - 13 : -
अलैंगिक जनन मुकुलन द्वारा होता है।
(a) अमीबा
(b) यीस्ट
(C) प्लैज्मोडियम
(d) लेस्मानिया

Answer - 13 : -

(b) यीस्ट।

Question - 14 : -
निम्न में से कौन मानव में मादा जनन तंत्र का भाग नहीं है?
(a) अंडाशय
(b) गर्भाशय
(C) शुक्रवाहिका
(d) डिबवाहिनी

Answer - 14 : -

(a) शुक्रवाहिका।

Question - 15 : -
परागकोश में होते हैं
(a) बाह्यदल
(b) अंडाशय
(C) अंडप
(d) परागकण

Answer - 15 : -

(d) परागकण।

Question - 16 : -
अलैगिक जनन की अपेक्षा लैंगिक जनन के क्या लाभ हैं?

Answer - 16 : -

  1. अलैंगिक जनन में प्राप्त संतति, जनक के लगभग समरूप होते हैं, क्योंकि इनमें एक ही जीव के डी०एन०ए० से प्रतिकृति प्राप्त होता है परंतु लैंगिक जनन में दो या दो से अधिक जीव भाग लेते हैं। अत: संयोजन अनोखा होता है तथा भिन्न जीवों से प्राप्त डी०एन०ए० अत्यधिक विभिन्नताओं को बढ़ावा देता है, जो विकास के लिए आवश्यक है।
  2. लैंगिक जनन में नए संयोजन के अवसर उत्पन्न होते हैं, जिससे नई स्पीशीज़ एवं जाति की उत्पत्ति होती है।

Question - 17 : -
मानव में वृषण के क्या कार्य हैं?

Answer - 17 : -

मानव में वृषण के कार्य निम्न हैं:-

  1. शुक्राणु का निर्माण करना।
  2.  टेस्टोस्टेरोन हॉर्मोन का स्राव करना।

Question - 18 : -
ऋतुस्राव क्यों होता है?

Answer - 18 : -

निषेचन नहीं होने की स्थिति में अंडाशय की अंत:भित्ति की मांसल एवं स्पोंजी परत जैसी संरचना की आवश्यकता नहीं रहती, क्योंकि यह अंड के निषेचन होने की अवस्था में उसके पोषण के लिए आवश्यक होता है। अतः यह परत धीरे-धीरे टूटकर योनि मार्ग से रुधिर एवं म्यूकस के रूप में निष्कासित होती है। इस चक्र में लगभग एक मास का समय लगता है, इसे ऋतुस्राव या रजोधर्म कहते हैं।

Question - 19 : -
पुष्प की अनुदैर्ध्य काट का नामांकित चित्र बनाइए।

Answer - 19 : -

Question - 20 : -
गर्भनिरोधन की विभिन्न विधियाँ कौन-सी हैं?

Answer - 20 : -

गर्भनिरोधन की विधियाँ निम्नलिखित हैं-

  1. यांत्रिक अवरोध (Physical Barrier Method)- ताकि शुक्राणु अंडकोशिका तक न पहुँच सकें। शिश्न को ढकने वाले कंडोम अथवा योनि में रखने वाले अनेक युक्तियाँ; जैसे-लूप अथवा कॉपर-टी (copper-T) को गर्भाशय में स्थापित करना।
  2. हार्मोन संतुलन को परिवर्तन- ये दवाएँ मादा सामान्यतः गोली के रूप में लेती हैं, जिससे हॉर्मोन संतुलन में परिवर्तन हो जाता है तथा अंड का विमोचन ही नहीं होता है। अतः निषेचन नहीं हो पाता है।
  3. शल्य क्रिया तकनीक (Surgical Method)- यदि पुरुष की शुक्रवाहिकाओं को अवरुद्ध कर दिया जाए तो शुक्राणुओं का स्थानांतरण रुक जाएगा। यदि मादा की अंडवाहिनी अथवा फेलोपियन नलिका को अवरुद्ध कर दिया जाए, तो अंड (डिंब) गर्भाशय तक नहीं पहुँच सकेगा। दोनों ही अवस्थाओं में निषेचन नहीं हो पाएगा।

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